केंद्रीय जल आयोग के अनुसार बुधवार की सुबह 8:00 बजे कहलगांव में गंगा का जलस्तर 31.73 मीटर पर जा पहुंचा था। जो खतरे के निशान से 64 सेंटीमीटर ऊपर जा पहुंचा है। केंद्रीय जल आयोग के अनुसार गंगा के जलस्तर में बढ़त के साथ बुधवार रात 10:00 बजे तक 31.78 मीटर पर पहुंचने की संभावना व्यक्त की गई है । हालांकि केंद्रीय जल आयोग के अनुसार गुरुवार को गंगा के जलस्तर में घटित होने की संभावना व्यक्त की गई है। कहलगांव में गंगा का डेंजर लेवल 31.09 मीटर है।
जहां एक ओर किसान सुखाड़ से परेशान हैं वही धनौरा, गोहर ,कटोरिया, चायटोला,के क्षेत्रों में किसानों ने पटवन की सहायता से खेती किया था। तीन बार गंगा के उफनाई बाढ़ ने किसानों की कमर तोड़ दिया ।सूखे की वजह से ऊपरी हिस्से में भी नमी नहीं है। धनौरा किसान के प्रभाकर सिंह, शिव शंकर,जैनुल इस्लाम, मोo बटोरन मोo यासीन, अमर प्रताप सिंह,सुभाष सिंह,गोहर के हरेंद्र कुमार सिंह आदि ने बताया कि किसी तरह पटवन करके धान की खेती किए गए थे। हम लोगों के कई एकड़ फसल पूर्व के दो बार आई बाढ़ मेंं पानी में गल गया। तीसरी बार बाढ़़ का पानी खेतों में प्रवेश करने लगा है। चिंता सताने लगी है। ।गंगा के जलस्तर में लगातार वृद्धि होने से सहायक नदियां कोवा नाला, भैना और गेरुआ नदी उफान पर है। धनोरा, ओगरी, महेशामुंडा,सर्वदीपुर, भोलसर, एकचारी, आमापुर, पकड़तल्ला, तोफिल, अंठावन आदि गांवों के बहियार बाढ़ के पानी से भर चुका है ।