सदर अस्पताल अस्पताल में इंडोर मरीजों के वस्त्रों की आपूर्ति, अस्पताल भवनों एवं परिसर की साफ-सफाई एवं वस्त्रों की धुलाई की सेवा तथा चिकित्सा महाविद्यालय अस्पतालों में इंडोर मरीजों के लिए वस्त्रों की आपूर्ति, अस्पताल भवनों एवं परिसर की साफ़-सफाई का काम अब जीविका के हाथों में होगा।
इस संबंध में राज्य सरकार के संयुक्त सचिव सुधीर कुमार ने आदेश जारी कर दिया है। जीविका द्वारा भी इसकी तैयारी शुरू कर दी गई है। अस्पतालों में खोली गई दीदी की रसोई के बेहतर परिणाम मिले हैं। इसी को देखते हुए यह निर्णय लिया गया है।
जारी पत्र में कहा गया है कि सदर अस्पतालों तथा अनुमंडल अस्पतालों में इंडोर मरीजों के इलाज के दौरान उपचार अवधि के दौरान भोजन की व्यवस्था जीविका द्वारा संचालित “दीदी की रसोई” के माध्यम से करायी जा रही है। इसके सकारात्मक परिणाम प्राप्त हुए हैं। अब अस्पतालों में साफ-सफाई एवं वस्त्र आपूर्ति का कार्य जीविका को सौंपने का निर्णय लिया गया है।
इसके लिए राज्य स्वास्थ्य समिति द्वारा जीविका के साथ अनुबंध किया जायेगा। जीविका डीपीएम अजित कुमार ने बताया कि कई प्रमुख विभागों में जीविका की भूमिका बढ़ रही है। जिससे लोगों को इसका लाभ मिल रहा है। साथ ही जीविका से जुड़े कर्मियों को भी आर्थिक लाभ मिल रहा है।
वस्त्रों की आपूर्ति व साफ-सफाई को लेकर विभाग द्वारा दिये गए दिशा-निर्देश के अनुसार काम किया जाएगा। जीविका द्वारा अस्पतालों को साफ-सफाई की सेवाएं अनिवार्य रूप से सप्ताह के सातों दिन, चौबीस घंटे उपलब्ध कराई जाएगी। आवश्यक स्थान, बिजली, पानी तथा प्रसाधन की व्यवस्था संबंधित स्वास्थ्य संस्थान द्वारा उपलब्ध कराया जायेगा।
शत प्रतिशत खादी वस्त्रों की होगी आपूर्ति
जीविका द्वारा इंडोर मरीजों के लिए 100 प्रतिशत खादी वस्त्रों की आपूर्ति की जाएगी। मरीजों के वस्त्र में कुर्ता-पायजामा तथा महिला एवं बच्चों के मामले में स्वास्थ्य समिति द्वारा निर्धारित उपयुक्त वस्त्र उपलब्ध कराया जायेगा। वस्त्रों की धुलाई में मरीजों द्वारा इस्तेमाल किये गए चादर, तकिया सहित, शल्य कक्ष, लिनेन तथा अन्य सभी वस्त्रों की सफाई में डिसइन्फेक्टेड, ब्लीचिंग एवं सुखाना शामिल होगा।