अंग टटका – टटकी
समीक्षा : “उपन्यास ‘गेना लैया’ : डॉक्टर अमरेंद्र” – अरुण कुमार पासवान
उपन्यास 'गेना लैया' : डॉक्टर अमरेंद्र++++++++++++++++++++++जिसे आप जी जान से चाहते हैं,उसे किसी भी हाल में छोड़ना नहीं चाहते हैं,पर छोड़ना आप की विवशता हो जाती है,वह आप के दिल के बहुत पास रहने लगता है।फिर जब भी सुयोग आता है आप अपने अंतराल की सारी कसर पूरी करते देखे जा सकते हैं। गांव और ग्रामीण संस्कृति के साथ मेरा भी ऐसा ही संबंध है।तो जब गांव पहुंचने का अवसर मिलता है,ग्रामीण संस्कृति की बात होने लगती है,ग्रामीण बोलचाल,शब्द या नाम सुनाई या दिखाई दे जाता है,मन करता है उसी में डूब जाऊं,और जो खोया है उसे जितना पा सकता हूं पा लूं।गेना नाम पहले भी सुना है,डॉक्टर अमरेंद्र जी के 'गेना' के पन्नों से गुज़रा भी हूं,(अच्छा है कि अब उसमें से कुछ भु याद नहीं)पर जब इसका पी डी एफ एक नए प्रकाशन के रूप में अमरेंद्र जी से ही प्राप्त हुआ तो उसमें तैरने, उतराने को जी करता है,आराम से धीरे धीरे।(यह मेरे लिए इस समय एक नई कहानी है,जिसे पढ़ते हुए,दुहराने जैसा कोई अहसास नहीं है,तो जिज्ञासा रत्ती भर भी कम न होगी।)नौकरी को मैं सदा मजबूरी मानता रहा हूं,रोटी के जुगाङ के लिए बस।यदि बिना नौकरी रोटी,कपड़ा …
भागलपुर एवं आस-पास
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अंग-पर्यटन
रत्नेश्वर नाथ धाम, गोड्डा (Ratneshwar Nath Dham) – Godda
Ratneshwar Nath Dham is situated near the picturesque bank of river Kajhiya situated in Shivpur Mohalla in the district headquarters. This Shiva temple is the center of faith of all the devotees of this region. Devotees come here throughout the year to seek their wishes. Devotees gather here in the month of Sawan.
Rathneshwar Nath Dham, GoddaOn every Monday of Sawan, Kanwariyas perform Jalabhishek on foot from various ghats of river Ganga here. In the month of Saman, the temple and the surrounding area resonate with the songs of Bolbam, Har Har Mahadev and devotional songs.
Historical background:
According to the belief, the Shivling of Ratneshwar Nath Dham temple was established five hundred years ago by the Shivling Khoji group of sadhus.
It is said that earlier there used to be light of Nagmani in the temple premises. Shivling was obtained by excavating this place. Hence the name of this Dham was named as Ratneshw…
सिंहेश्वरनाथ धाम व गुड़मेश्वर धाम, गोड्डा (Singheshwar Dham & Gudmeshwar Dham) – Godda
Very ancient Singheshwar Nath Mahadev Temple is located in Podaihat, just eight km away from the block headquarter, near Podaihat - Hansdiha main road. A large number of devotees from far-flung areas pay their obeisance here.
Its importance increases due to its location at the confluence of three rivers. It is situated on the sangam of three rivers. The three rivers that meet her are Baghmati, Taramati and Triveni. The natural shade here is unique.
There is an ancient tradition of worshiping after marriage in this temple. Newly married couples reach here with successful married life and progeny. This tradition is four hundred years old.
Singheshwar Nath Dham Mandir, GoddaThe history of the temple is very old. 443 years ago, King Bhimsen is said to have built Singheshwar Nath temple on Triveni bank. Which has historical evidence as well. There are many stories about the importance of Singhesh…
मां सिंह वाहिनी मंदिर, गोड्डा (Ma Singhwahini Mandir) – Godda
Situated at the confluence of three rivers near Godda-Pakur main road, eight km away from the water headquarters, Singhwahini Dham is the center of faith.
Singhvahini Dham is situated at the confluence of Kajhia and Jatjori river near Jamni village. One has to cross a river to get there. This place is important from historical point of view.
There is an influx of devotees and devotees throughout the year. The people of this region start the new year with worship in the court of Maa Singhvahini.
History
In ancient times., on the banks of the river, there was strong hold of Maheshpur kingdom, ruled by King Padmasena. At some distance from there, a golden statue of Maa Singhwahini was installed at a very beautiful place in the deserted wilderness, where the king used to worship. At some distance from there, sage Jaimini used to offer worship in the hut of clumps. Maa Singhvahini was worshiped…
करमदाहा घाट एवं मंदिर, जामताड़ा, दुमका (Karamdaha Ghat & Temple) – Jamtara, Dumka
When you visit Jamtara, you can easily visit two places, i.e., Karamdaha Ghat and Karamdaha Temple at the same time – a very beautiful picturesque place.
Karamdaha Mandir, Jamtara /*! elementor - v3.20.0 - 20-03-2024 */ .elementor-widget-divider{--divider-border-style:none;--divider-border-width:1px;--divider-color:#0c0d0e;--divider-icon-size:20px;--divider-element-spacing:10px;--divider-pattern-height:24px;--divider-pattern-size:20px;--divider-pattern-url:none;--divider-pattern-repeat:repeat-x}.elementor-widget-divider .elementor-divider{display:flex}.elementor-widget-divider .elementor-divider__text{font-size:15px;line-height:1;max-width:95%}.elementor-widget-divider .elementor-divider__element{margin:0 var(--divider-element-spacing);flex-shrink:0}.elementor-widget-divider .elementor-icon{font-size:var(--divider-icon-size)}.elementor-widget-divider .elementor-divider-separator{display:flex;…
अंग मनोरंजन
प्रेम लगन (Prem-Lagan) – Angika Movie
Film Name – Prem Lagan
Star cast – Aajit Anand, Mohan Rathod,Jay Singh Etc.
Producer –Rajesh Kumar Gupta
Director – Nitesh Singh Nirmal
Music director – Lovely Sharma, Govind Ojha
Song lyrics – R r Pankaj, Nitesh Nirmal, Govind Ojha.
https://www.youtube.com/watch?v=Cf2Qy42huS8Film writer – Nitesh Singh Nirmal
Banner – Rock Film Production
Company/Label – Wave Music
Copyrights – Vee Gee Audio
Digital Managed by – Lokdhun
अंगिका होली लोक गीत – 2022- २ – Angika Holi Lok Geet
अंगिका होली लोक गीत – 2022 – २ : Angika Holi Lok Geet
भागलपुर जिले के गोपालपुर प्रखंड के लपटोलिआ गांव में आज में अंग संस्कृति की जड़ें बहुत मजबूत हैं. पॉप, रॉक एंड हिप हॉप के ज़माने में आज भी वहां के लोग पारम्परिक होली के अंगिका भाषा में गीत गाकर होली त्यौहार का मधुर समां बाँध देते हैं.
हमारी अंग संस्कृति को जिन्दा रखने और आगे बढ़ाने के लिए इनके हम हमेशा ऋणी रहेंगे !
https://youtu.be/Hw8Wfz18QkEअंगिका होली लोक गीत - 2022- २ - Angika Holi Lok Geet
अंगदेश.कॉम, ‘अंगदेश’ क्षेत्र की संस्कृति, भाषा, इतिहास, व्यंजनों, त्योहारों, पर्यटन आदि का प्रतिनिधित्व करती है और बढ़ावा देती है. अंगदेश.कॉम, अंगदेश की इस प्राचीन सभ्यता और संस्कृति को एक जगह सहेजकर इसे फिर से विश्वभर में पहुँचाने का एक प्रयास भर है.
अगर आप किसी भी स्वरुप में हमारे इस प्रयास में आप अपनी भागेदारी करना चाहते हैं तो आप सादर आमंत्रित हैं| आपका सहयोग मिले, तो हम फिर से अपनी हजारों साल पुरानी अंगदेश की गौरवान्वित सभय्ता को पुनर्जिवित कर सकते हैं |
अंगिका होली लोक गीत – 2022- ३ – Angika Holi Lok Geet
अंगिका होली लोक गीत – 2022 – ३
भागलपुर जिले के गोपालपुर प्रखंड के लपटोलिआ गांव में आज में अंग संस्कृति की जड़ें बहुत मजबूत हैं. पॉप, रॉक एंड हिप हॉप के ज़माने में आज भी वहां के लोग पारम्परिक होली के अंगिका भाषा में गीत गाकर होली त्यौहार का मधुर समां बाँध देते हैं.
हमारी अंग संस्कृति को जिन्दा रखने और आगे बढ़ाने के लिए इनके हम हमेशा ऋणी रहेंगे !
https://youtu.be/VUjHyioqc7Uअंगिका होली लोक गीत - 2022- ३ - Angika Holi Lok Geet
अंगदेश.कॉम, ‘अंगदेश’ क्षेत्र की संस्कृति, भाषा, इतिहास, व्यंजनों, त्योहारों, पर्यटन आदि का प्रतिनिधित्व करती है और बढ़ावा देती है.
अंगदेश.कॉम, अंगदेश की इस प्राचीन सभ्यता और संस्कृति को एक जगह सहेजकर इसे फिर से विश्वभर में पहुँचाने का एक प्रयास भर है. अगर आप किसी भी स्वरुप में हमारे इस प्रयास में आप अपनी भागेदारी करना चाहते हैं तो आप सादर आमंत्रित हैं| आपका सहयोग मिले, तो हम फिर से अपनी हजारों साल पुरानी अंगदेश की गौरवान्वित सभय्ता को पुनर्जिवित कर सकते हैं |
अंगिका होली लोक गीत – 2022 – ४ – Angika Holi Lok Geet
अंगिका होली लोक गीत – 2022 – ४ : Angika Holi Lok Geet
भागलपुर जिले के गोपालपुर प्रखंड के लपटोलिआ गांव में आज में अंग संस्कृति की जड़ें बहुत मजबूत हैं. पॉप, रॉक एंड हिप हॉप के ज़माने में आज भी वहां के लोग पारम्परिक होली के अंगिका भाषा में गीत गाकर होली त्यौहार का मधुर समां बाँध देते हैं.हमारी अंग संस्कृति को जिन्दा रखने और आगे बढ़ाने के लिए इनके हम हमेशा ऋणी रहेंगे !
https://youtu.be/oDp_sez_opsअंगिका होली लोक गीत – 2022 – ४ Angika Holi Lok Geet
अंगदेश.कॉम, ‘अंगदेश’ क्षेत्र की संस्कृति, भाषा, इतिहास, व्यंजनों, त्योहारों, पर्यटन आदि का प्रतिनिधित्व करती है और बढ़ावा देती है.अंगदेश.कॉम, अंगदेश की इस प्राचीन सभ्यता और संस्कृति को एक जगह सहेजकर इसे फिर से विश्वभर में पहुँचाने का एक प्रयास भर है. अगर आप किसी भी स्वरुप में हमारे इस प्रयास में आप अपनी भागेदारी करना चाहते हैं तो आप सादर आमंत्रित हैं| आपका सहयोग मिले, तो हम फिर से अपनी हजारों साल पुरानी अंगदेश की गौरवान्वित सभय्ता को पुनर्जिवित कर सकते हैं |
अंगिका भाषा एवं साहित्य
केन्द्र को कौन बताए कि अंगिका व्युत्पन्न भाषा नहीं है – डॉ. अमरेन्द्र
अंगिका शब्दकोष (य, र, ल, व, श, ष, स, ह) – Angika Language Dictionary
योजना कोनो काम करे के बिचार काल खेत जोतै के बिचार छै (sem. domains: 6.1.2.5 - योजना.)
रत्न n धरती के भीतर मिलै वाला रत्न जेकरा सजवट के लेली ईस्तेमाल करलो जाय छै हीरा, रूबी-पत्थल (sem. domains: 1.2.2.5 - रत्न.)
रोपना v केला के खेती मामा केला के खेती करै छै (sem. domains: 6.2.1.4.2 - उगाना)
रसीद काटै वाला (sem. domains: 6.1.1 - कर्मचारी.)
राँड़-मोसमात , टरमुनसा, बेबा, विधुर-विधवा n जे मरदाना के बहु मरी गैलो छै, जे जलानी का मरद मरी गैलो छै, हमरो गामो मॅ तीन गो मोसमात छै। (sem. domains: 4.1.9.3 - विधवा, विधुर.)
रामरस - नमक
रौदा - धूप
रुपिया पैसा लेन देन (sem. domains: 6.8 - अर्थ, वित.)
रोपनी धान रोपना खेत मे फसल लगाना (sem. domains: 6.2.3 - खेत रोपना.)
लकरकट्ट…
अंगिका शब्दकोष (च, छ, ज, झ, ञ) – Angika Language Dictionary
चचेरा भाय/बहिन n जे हमरो माँय-बाप के भाय-बहिन के बच्चा छेके हमरो ढेरी चचेरा भाय बहिन छै। (sem. domains: 4.1.9.1.7 - चचेरा भाई या बहन.)
चमगुदड़ी n एगो ऐसनो बहुत्ते छोटो आपनो बच्चा कॅ दूध पिलाय वाली जानवर जे रात के समय मॅ ऊड़ै छै घर के फूस वाला छप्पर मॅ रहै छै, (sem. domains: 1.6.1.1.8 - चमगादड़.)
चमरी 1देह के उपरका भाग (sem. domains: 2.1.4 - त्वचा.) 2हमरो चमरी पतला छै
चमारि जुता बनावे वाला (sem. domains: 6.6.4.3 - चमड़े के साथ काम करना.)
चिड़याँ n ऐसनो जानवर जेकरा दूगो पाँख होय छै आरू ऊड़ै छै, कबूत्तर, कौवा, सुग्गा (sem. domains: 1.6.1.2 - पक्षी.)
चिड़ियाँ के अंग n चिड़ियाँ के देह के अंग पाँख, गोड़, लोल (sem. domains: 1.6.2.1 - किसी पक्षी के भाग.)
चिनता करना n इ दुनिया सँ चललो गाइलै रामु इ दुनिय…
अंगिका शब्दकोष (ट, ठ, ड, ढ, ण, ड़, ढ़) – Angika Language Dictionary
टाका रूपया पैसा टाका (sem. domains: 6.8.6.1 - वितिय इकाई.)
टूवर-टापर n जेकरा माँय-बाप मरी गैलो टूवर-टापर के देखैवाला कोय नै छै (sem. domains: 4.1.9.4 - अनाथ.)
टेबना 1कुछु पायै या करै क जोर लगाना (sem. domains: 6.1.2.1 - कोशिश करना, प्रयास.) 2कुछु पायै या करै क जोर लगाना (sem. domains: 6.1.2.1 - कोशिश करना, प्रयास.)
टेबुल n लकड़ी के बनलो एक समान जेकरा मॅ चार या तीन गोड़ होय छै आरू जेकरा पर कुच्छु समान रखॅ सकै छियै घर, स्कूल, कॅलेज, ऑफिस मॅ भी टेबुल के ईस्तेमाल करलो जाय छै (sem. domains: 5.1.1.1 - मेज़.)
टोकरि,चाटाई बनाना पटिया बानाना (sem. domains: 6.6.4.2 - टोकरी और चटाई बुनना.)
ठक लेन देन मे धोखा देवे वाला (sem. domains: 6.8.9 - वितिय अभ्यास में धोखेबाजी.)
ढारना v - पानी अथवा द्रव के बहना, पानी, चाय, ते…